गुरुवार, 21 जनवरी 2021

समय की एजेंसी -33

 कार्य प्रबंधन तकनीक:

समय के सन्दर्भ में कार्यों का प्रबंधन करने के लिए अर्थात् अपनी समस्त गतिविधियों का प्रबंधन करने के लिए हमें प्रबंधन तकनीकों को लागू करना होगा। कार्य प्रबंधन तकनीक ही हमें सीमित उपलब्ध समय में अधिकतम कार्य करने में सक्षम बनाती है। इसी से हम सीखते हैं कि कम उपयोगी कार्यों से हटाकर समय रूपी संसाधन को अधिक उपयोगी कार्यों में लगाकर अधिक व श्रेष्ठ परिणाम प्राप्त किए जा सकते हैं। समय के संपूर्ण उपयोग के लिए हमें कार्य व उपलब्ध समय दोनों पर ध्यान देना होगा। समय एक संसाधन है, सीमित है, जिसको प्रयोग करने के असीमित विकल्प उपलब्ध हैं। सीमित समय में अपने असीमित कार्यों को संपन्न करने के लिए हमें अपनी प्राथमिकताओं के अनुरूप कार्यों के लिए समय आवंटित करना होगा। हमें यह सुनिश्चित करना होगा कि हमारे उपलब्ध समय का प्रत्येक पल प्रयुक्त हो और सबसे पहले सबसे महत्वपूर्ण गतिविधि में प्रयोग किया जाए।

 

समय के आधार पर बेहतर फैसला:

समय के सन्दर्भ में कार्य संबधी नियोजन करते समय कार्य की आवश्यकता, उसके महत्व, उसके संपन्न करने या करवाने के विकल्पों पर विचार किया जाता है। कार्य की आवश्यकता, कार्य कितना आवश्यक है? कार्य की गुणवत्ता अधिक महत्वपूर्ण है या कार्य की मात्रा या फिर दोनों में संतुलन बनाने की आवश्यकता है? इस विषय पर भी पर्याप्त विचार करने की आवश्यकता है; क्योंकि सांख्यिकी के सह-संबंध के सिद्धांत के अनुसार, ‘परिमाण और गुणवत्ता में नकारात्मक सह-संबंध होता है।’ यदि हम गुणवत्ता पर अधिक जोर देते हैं, तो उत्पादन कम होगा; इसके विपरीत हम कार्य की मात्रा पर अधिक जोर देते हैं, तो गुणवत्ता पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है। अतः यह निर्धारित करना आवश्यक है कि हमारी प्राथमिकताएँ क्या हैं?

Rounded Rectangle: ‘परिमाण और गुणवत्ता में नकारात्मक सह-संबंध होता है।’
 

 

 

 


कार्य किसी से करवाया जा सकता है या उसके महत्व को देखते हुए उसे स्वयं ही करना उचित होगा? उसके लिए कितना समय लगाना उचित होगा? समय के संदर्भ में कार्य प्रबंधन के अन्तर्गत आवश्यक है कि हम सभी पहलुओं पर विचार करके बेहतर फैसला लें ताकि न्यूनतम समय में गुणवत्तापूर्ण कार्य संपन्न होना संभव बनाकर बचे हुए समय का अन्य गतिविधियों में निवेश कर सकें।

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